विद्युत चुम्बकीय तरंगों के संचरण के लिए किसी माध्यम की आवश्यकता नहीं होती तथा ये तरंगें निर्वात (space) में भी संचरित हो सकती हैं। ये तरंगें चुम्बकीय एवं विद्युत क्षेत्रों के दोलन से उत्पन्न होने वाली अनुप्रस्थ तरंगें हैं। प्रकाश तरंगें, ऊष्मीय विकिरण, एक्स किरणें, रेडियो तरंगें आदि विद्युत-चुम्बकीय तरंगों के उदाहरण हैं। इन तरंगों का तरंग दैध्र्य परास (wave length) काफी विस्तृत होता है। इनका परास 10-14 मी. से लेकर 104 मी. तक होता है। आइए आंते हैं आवृत्ति के बढते क्रम में इन तरंगों कों याद रखने की युक्ति-
क्रम | युक्ति | तरंग | खोजकर्ता | आवृत्ति (Hz) | तरंगदैर्ध्य (m) |
1 | Rahul’s | Radio | मारकोनी | < 109 | > 0.3 |
2 | Mother | Microwaves | हेनरिक हर्ट्ज | 109 – 3×1011 | 0.001 – 0.3 |
3 | Is | Infrared | हर्शेल | 3×1011 – 3.9×1014 | 7.6×10-7 – 0.001 |
4 | Visiting | Visible | न्यूटन | 3.9×1014 – 7.9×1014 | 3.8×10-7 – 7.6×10-7 |
5 | Uncle | Ultraviolet | रिटर | 7.9×1014 – 3.4×1016 | 8×10-9 – 3.8×10-7 |
6 | Xavier’s | X-Rays | रॉन्जस | 3.4×1016 – 5×1019 | 6×10-12 – 8×10-9 |
7 | Garden | Gamma Rays | बैकुरल | > 5×1019 | < 6×10-12 |
महत्वपूर्ण-
- यह एक अनुप्रस्थ (लांगीट्यूडनल) तरंग है। (जबकि ध्वनि एक अनुदैर्ध्य यांत्रिक तरंग है।)
- इसका अस्तित्व विद्युत क्षेत्र एवं चुंबकीय क्षेत्र के दोलन के कारण होता है।
- इसके संचरण के लिये किसी माध्यम का होना आवश्यक नहीं है। यह शून्य या निर्वात में भी चल सकता है। (जबकि ध्वनि के लिये माध्यम आवश्यक है।)
- इसमें विद्युत क्षेत्र एवं चुंबकीय क्षेत्र परस्पर लम्बवत दोलन करते हैं; तथा विद्युत चुंबकीय तरंग के संचरण की दिशा विद्युत एवं चुंबकीय क्षेत्र के लम्बवत होती है।
- शून्य या निर्वात में प्रकाश का वेग लगभग ३ लाख किमी/से (299,800 किमी/सेकेण्ड) होता है जो एक नियतांक है। कोई भी वस्तु इससे अधिक वेग से गति नहीं कर सकती।
- अन्य माध्यमों में इसकी चाल शून्य में इसकी चाल से कम होती है।
- मानव की आँखें, विद्युतचुंबकीय विकिरण के जिस भाग के प्रति संवेदनशील होती हैं उसे दृष्य प्रकाश (visible light) कहा जाता है। दृष्य प्रकाश की तरंगदैर्ध्य (वेभलेंथ) 4000 एंगस्ट्राम से 8000 एंगस्ट्राम तक होती है।
- विद्युत और चुंबकत्व दोनो ही विद्युतचुंबकीय प्रभाव हैं।
- विद्युतचुंबकीय विकिरण में ऊर्जा एवं संवेग (मोमेन्टम्) भी होते हैं। जब ये तरंगे किसी पदार्थ से अनुक्रिया (इन्टरैक्शन) करती हैं तो पदार्थ के अणुओं (परमाणुओं या एलेक्ट्रान) को यह उर्जा और संवेग प्रदान करती हैं।
- विद्युत्चुंबकीय विकिरण के दृष्य प्रकाश के अतिरिक्त अन्य विकिरणों का उपयोग कुछ ही दशकों से आरम्भ हुआ है। मानव जब भी किसी नये विकिरण का पता लगाता है, सभ्यता में एक क्रान्ति आ जाती है।
1. गामा किरणें
इन किरणों के खोजकर्ता बैकुरल है, तथा इस का उपयोग जहाजो में तथा कुत्रिम रेडिओ धर्मिता में की जाती है |
2. एक्स किरणें
खोजकर्ता रॉन्जस है, इस का उपयोग चिकित्सा एव औद्योगिक क्षेत्र में इसका उपयोग किया जाता है |
3. पराबैगनी किरणें
खोजकर्ता रिटर है, इस का उपयोग सिकाई करने, प्रकाश वैदुत प्रभाव को उत्पन करने, बक्टेरिया को नस्ट करने में किया जाता है |
4. दृश्य विकिरण
खोजकर्ता न्यूटन है, इस के उपयोग से हमें वस्तुये दिखलाई पड़ती है |
5. अवरक्त विकिरण
खोजकर्ता हर्शेल, इस का उपयोग ये किरने उष्मीय विकिरण है | ये जिस वस्तु पर पड़ती है, उसका ताप बढ़ जाता है | इसलिए कुहरे में फोटो ग्राफी करने एव रोगियों की सकाइ करने में किया जाता है |
6. लघु रेडिओ तरंगे
खोजकर्ता हेनरिक हर्ट्ज है, उपयोग रेडिओ, टेलीविजन एव टेलीफ़ोन में होता है |
7. दीर्घ रेडिओ तरंगे
खोजकर्ता मारकोनी है | रेडिओ एव TV में उपयोग होता है |
और अधिक जानकारी हेतु विकीपीडिया पृष्ठ देखे – विद्युतचुंबकीय_विकिरण
एक विधुत चुम्बकीय तरंग के चुम्बकीय क्षेत्र का आयाम 2 माइक्रोटेस्ला है। तरंग के वैधुत क्षेत्र का आयाम ज्ञात कीजिए
कृपा करके इस प्रश्न को विधी पुरबक उत्तर दे
As we know :
Electric Field Amplitude = Magnatic Field Amplitude * Speed of Light
E= (2*10^-6) * (3*10^8)
E= 6*10^2 T
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Radio waves
E or B me kitne digree ka angle hota h
Please pdf nots provided kijiye